रिपोर्ट: बलजीत यादव, संवाददाता – खुटहन | स्रोत: आवाज न्यूज़
जौनपुर, खुटहन ब्लॉक:
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू की गई हर घर जल योजना यानी जल जीवन मिशन जमीनी हकीकत में दम तोड़ती दिख रही है। खुटहन विकासखंड के अंतर्गत आने वाले इमामपुर ग्राम पंचायत में नल तो लगभग हर घर में लगा दिए गए हैं, लेकिन एक साल से अधिक समय बीतने के बावजूद इन टोटियों से पानी की एक बूंद भी नहीं निकली है।
सरकारी आंकड़ों के अनुसार, ग्राम पंचायत में कुल 386 घर हैं, जिनमें से 362 घरों में नल कनेक्शन दिया जा चुका है। लेकिन गांव में अब तक पानी की टंकी का निर्माण नहीं किया गया है, जिससे सप्लाई शुरू नहीं हो पाई। कई घरों में अब तक नल भी नहीं पहुंचे हैं।
जल जीवन मिशन की वेबसाइट पर यह ज़रूर दर्ज है कि पाइपलाइन से पानी की आपूर्ति उपलब्ध है और जल की गुणवत्ता “सुरक्षित” बताई गई है, लेकिन हकीकत इसके ठीक उलट है। करोड़ों रुपये खर्च होने के बावजूद ग्रामीणों को अब भी हैंडपंप या कुएं के सहारे रहना पड़ रहा है।
ग्रामवासियों का फूटा गुस्सा
ग्राम पंचायत के युवा समाजसेवी सुजीत वर्मा एडवोकेट ने इस लापरवाही के खिलाफ आवाज उठाई है। उन्होंने कहा:
“अगर जल्द ही पानी की टंकी का निर्माण और जलापूर्ति शुरू नहीं की गई, तो हम सब आंदोलन के लिए बाध्य होंगे। इसके लिए जिम्मेदार जिला प्रशासन और जल निगम विभाग होगा।”
खास बातें:
- इमामपुर गांव में जल जीवन मिशन के तहत 258 लाख रुपये की लागत से योजना स्वीकृत।
- ठेकेदारों ने घर-घर नल लगाए और पेमेंट ले लिया, लेकिन सप्लाई शुरू नहीं।
- सरकारी पोर्टल पर योजना “चालू” दिख रही है, जबकि जमीनी हालात बदतर हैं।
- ग्रामीणों ने जल्द समाधान की मांग की, नहीं तो करेंगे आंदोलन।
अब सवाल ये उठता है कि जब करोड़ों की योजना बनी, भुगतान हो गया, रिपोर्ट में सब ठीक है – तो फिर ग्रामीण पानी के लिए क्यों तरस रहे हैं?